मनरेगा के तहत निर्माण करवा कर सड़क हादसे रोकने की कि जा रही है कवायद, लोगों के लिए मनरेगा हो रही है वरदान साबित
भीलवाड़ा: महात्मा गांधी रोजगार योजना भीलवाड़ा जिले वासियों के लिए वरदान साबित हो रही है जहां प्रदेश में पहली बार भीलवाड़ा जिला परिषद की ओर से नवाचार कर वर्षा ऋतु में आवारा जानवरों से सड़क हादसे रोकने के लिए मनरेगा के तहत टीन सैड निर्माण किया जा रहा है।
भीलवाड़ा जिले में मनरेगा के तहत वर्तमान में लगभग डेढ़ लाख श्रमिक काम कर रहे हैं बढ़ती गर्मी को देखते हुए मनरेगा कार्य स्थल पर छाया, पानी और पर्याप्त चिकित्सीय दवाइयां उपलब्ध है जहा जिला कलेक्टर जसमीत सिंह संधू ने मनरेगा कार्यस्थल पर अच्छी व्यवस्था करने जिले के तमाम विकास अधिकारियों को निर्देशित कर रखा है। प्रदेश में पहली बार मनरेगा के तहत भीलवाड़ा जिले में नवाचार किया जा रहा है जहां वर्षा ऋतु में आवारा जानवर राजमार्ग या रोड पर आ जाते हैं जिसके कारण सड़क हादसे होते हैं ऐसे में सड़क हादसों में कमी लाने के लिए सड़कों के पास टीनसेड का निर्माण करवाया जा रहा है जिससे भविष्य में सड़क हादसों में कमी आ सके।
जहां भीलवाड़ा जिला परिषद में मनरेगा का कार्य देखने वाले अधीक्षण अभियंता गोपाल लाल टेलर ने कहा कि भीलवाड़ा जिले की 14 पंचायत समितियां में किसानो द्वारा रबी की फसल समेटने के बाद अब मनरेगा की ओर रुझान बढा है भीलवाड़ा जिले में वर्तमान में मनरेगा में चल रहे 8861 कामो (कार्यस्थल) पर 1 लाख 78 हजार 183 मजदूर काम कर रही है जहां मनरेगा कार्य स्थल पर श्रमिकों के लिए छाया, पानी व आवश्यक मेडिकल कीट उफलब्ध है वही राजस्थान में पहली बार भीलवाड़ा मनरेगा कामों में नवाचार किया है जहा बारिश के समय जो रोड पर आवारा जानवर बैठे रहते हैं उनसे एक्सीडेंट की संभावना रहती है इसके लिए पास में "कैटल सैड" निर्माण के लिए काम कर रहे हैं उसमें 61 काम सैंक्शन कर दिए हैं बाकी प्रस्ताव मंगवा रहे हैं वही एग्रीकल्चर में किसान पौधे लगाते हैं पहली बार जिले में एससी एसटी के लाभार्थी जिनके पास सोलर सिस्टम लगा हुआ है उनको उद्यान विभाग के साथ मिलकर पौधारोपण के लिए प्रोत्साहित कर रहे हैं उसमें 210 किसानों का टारगेट रखा है मनरेगा से लोगों को संबल मिलता है क्योकी श्रमिकों को अपने खाते में भुगतान मिलता है। वर्तमान में भीलवाड़ा जिले में काम कर रहे मनरेगा श्रमिकों को एवरेज 212 रुपए की मजदूरी मिल रही हैं जबकी 281 रुपए सरकार की तरफ से रेट फिक्स है। मनरेगा श्रमिकों को भुगतान उनके द्वारा कार्य स्थल पर दिए गए टास्क के अनुसार मिलता है ।
बाईट- गोपाल लाल टेलर
अधीक्षण अभियंता मनरेगा, जिला परिषद भीलवाड़ा
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